ऑस्ट्रेलिया के मेलबर्न स्थित एक बड़े स्कूल में स्कूली छात्रों की बनाई लिस्ट से हंगामा मच गया है।

खबर है कि लिस्ट में छात्राओं के नाम शामिल किए गए थे और उन्हें ‘बलात्कार नहीं करने लायक’ या ‘क्यूटी’ जैसे अपमानजनक वर्गों में बांटा गया था।

शीट के सामने आने के बाद से ही खलबली है। स्कूल प्रशासन ने पैरेंट्स के साथ आपातकाल बैठक भी की है।

ऑस्ट्रेलियाई वेबसाइट द नाइटली एक रिपोर्ट के अनुसार, यारा वैली ग्रामर के चार छात्रों के सस्पेंड किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, एक स्प्रेडशीट सामने आने के बाद यह फैसला लिया गया है।

लिस्ट में छात्राओं को अपमानजनक तरीके से शामिल किय गया था। खबर है कि छात्राओं के नामों को ‘वाइफीज’, ‘क्यूटीज’ और ‘बलात्कार नहीं करने लायक’ जैसे लिस्ट में लिखा गया था।

बीते बुधवार को स्प्रेडशीट सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म डिसकॉर्ड पर वायरल हो गई थी। इसके बाद से ही विवाद ने तूल पकड़ लिया था।

कहा जा रहा है कि लिस्ट को 11 छात्रों ने मिलकर तैयार किया था। खबर लगते ही स्कूल में बैठक हुई लिस्ट में शामिल छात्रों के पैरेंट्स को बुलाया गया। बैठक में स्कूल के प्रिंसिपल डॉक्टर मार्क मैरी भी शामिल हुए।

रिपोर्ट के अनुसार, चैनल9 से बातचीत में डॉक्टर मैरी ने कहा, ‘मेरी पहली प्रतिक्रिया थी कि ये बहुत डरावना है कि ऐसी क्रूर चीज भी की जा सकती है और हमारे किसी भी छात्र के प्रति ऐसा अपमानजनक रवैया रखा जा सकता है।

‘ उन्होंने कहा, ‘मेरी प्राथमिकता युवतियों को लेकर है, जिन्हें निशाना बनाया गया है। यह मेरी पहली चिंता है। साथ ही मुझे उन लोगों को भी जिम्मेदार ठहराना है, जिन्होंने ये किया है।’

उन्होंने जिम्मेदार छात्रों के निलंबन पर भी खुशी जाहिर की है। उन्होंने कहा, ‘यह बहुत ही घिनौना और डराने वाला है।

मुझे खुशी है कि छात्रों को सस्पेंड कर दिया गया है।’ उन्होंने छात्राओं को स्कूल में काउंसिलिंग दिए जाने की बात कही है।